Friday, June 17, 2016

जैसा नजरिया, वैसा विकास...

मैं यादव हूं...मुझे लालू-मुलायम में विकास दीखता है...
मैं कुर्मी हूं, मुझे नीतीश में विकास दीखता हैं...
मैं वामपंथी हूं हरदम सीमा पर चीन लतियाता हैं मुझे, फिर भी चीन की स्तुति करने और उसके यहां की बनी सामान खरीदने में मुझे विकास दीखता है...
मैं वामपंथी हूं सिंगूर और नंदीग्राम और फिलहाल कन्नूर में दर्जनों निहत्थे को मौत के घाट उतार देता हूं, उसमें विकास दीखता हैं...
पर और कहीं भी विकास नहीं दीखता...
क्या करुं आदत से लाचार हूं...
हमारे पूर्वज अंग्रेजों के जूते और मुगलों के जूते खाते रहे हैं, इसलिए हमें भी आजकल उनके जूते खाने के लिए बदन कुलकुलाता है इसलिए विकास दीखेगा कैसे...
मैं आज भी जहां हूं चूहों की तरह भारत को कुतर रहा हूं...
विकास दीखेगा कैसे...
विकास तो लालू जी ने दिया कभी अपने जोरु को सीएम बनाकर तो कभी अपने बेटे को डिप्टी सीएम बनाकर, कभी अपनी बेटी को राज्यसभा में पहुंचाकर...
विकास तो हमारे झामुमो नेता दिशोम गुरु शिबू सोरेन ने किया,अपनी आदत के अनुसार सबसे छोटे बेटे को भी नेतागिरी की जन्मघूंटी पिलाकर राज्यसभा बेचने की युगत लगा दी...
विकास तो सोनिया ने किया है, जो अपने बेटे राहुल, दामाद राबर्ट और बेटी प्रियंका से आगे सोच ही नहीं रही...
विकास तो मुलायम ने किया, जिसने अपने पूरे खानदान को लोकसभा, राज्यसभा विधानसभा और पूरे यूपी में अपनी जाति के लोगों को हर जगह भर कर रख दिया...
विकास तो नीतीश ने किया, नीतीशभक्ति में लीन एक पत्रकार को राज्यसभा में पहुंचाकर...
विकास तो वृंदा और प्रकाश करायेंगे जिन्होंने कई वर्षों तक बंगाल को ऐसा रौंदा कि पिछले पांच वर्षों से बंगाल की जनता इनकी पार्टी को लतिया रही है, पर शर्म नहीं आ रहा...
विकास तो अरविन्द केजरीवाल करायेंगे, जो हमेशा भ्रष्टाचार के खिलाफ ही बोला करते थे और आज जिनके 21 विधायक भ्रष्टाचार का रिकार्ड तोड़ते हुए हुतूतू कर रहे है,
भाई बुरा मत मानियेगा हम भी आपके साथ हैं, जब हल्ला करियेगा कि विकास नहीं हो रहा तो हम भी आपके साथ सुर में सुर मिलायेंगे, और जैसा आपका झंडा होगा, थाम लेंगे, फिलहाल अभी आप हमारा लाल, पीला, हरा और भैस के रंगवाला काला सलाम भी स्वीकार करिये...

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